vitamins| विटामिन के नाम स्त्रोत और इनकी कमी के प्रभाव | कार्बोहाइड्रेट्स , विटामिन , प्रोटीन आदि पोषण के प्रमुख तत्त्व हैं। वह आहार, जिसमें सभी पोषक तत्त्व उचित अनुपात मे होते हैं | संतुलित आहार कहलाता है | जल , मानव शरीर का 70-80 % भाग बना होता है |
विटामिन के नाम स्त्रोत और इनकी कमी के प्रभाव ( vitamins)
नाम (Vitamin Name ) | स्त्रोत ( Vitamin Source ) | कमी का प्रभाव ( vitamin deficiency effect ) |
विटामिन-A ( रोटिनॉल ) | दूध, मक्खन, अण्डा, जिगर तथा मछली का तैल | | कार्निया व त्वचा की कोशिकाओ की पपड़ी (scaliness of skin cells ) , रतोंधी , कुंठित वृद्धि (stunted growth ) |
विटामिन- D (कैल्सीफेयॉल) | मक्खन, जिगर, मछली का तेल, गुर्दों , अण्डे, त्वचा और यीस्ट मे , सूर्ये प्रकाश मे संश्लेषण | | सुखा रोग बच्चो मे , अस्थिमृदुता (व्यस्को मे ) |
विटामिन-E (टोकोफेरॉल) | तेल, गेंहूँ , अंडे की ज़र्दी तथा सोयाबीन | | जनन अक्षमता की कमी , जननांग तथा पेशी कमजोर |
विटामिन-K (नैफथोक्विनोन या फिल्लौकिवनोंन) | हरी पत्तियाँ, अण्डा, जिगर, टमाटर , घोबी , सोयाबीन | | चोट पर रुधिर का थक्का न जमने से अधिक खून का बहना | |
विटामिन-B1 (थायमीन) | अनाज , फलियाँ , सोयाबीन , दूध , यीस्ट , अंडा तथा मॉस | | बेरी – बेरी |
विटामिन-B2 ( राइबोफ्लेविन ) | पनीर , अंडे , यीस्ट , हरी पट्टियाँ , मांस तथा जिगर | | स्कोलियोसिस (scoliosis ) |
विटामिन-B3 ( निकोटिनिक अम्ल ) | यीस्ट ,मांस, जिगर, मछली ,अंडा ,दूध मटर, मेवा तथा फलियाँ | | पेलाग्रा ( Pellagra ) |
विटामिन-B5 ( पेंटोथिनिक अम्ल ) | अंडा , जिगर , मांस , दूध , टमाटर , मूंगफली तथा गन्ना | | चरम रोग ( skin disease ), वृधि कम , बाल सफेद , अल्सर तथा जनन क्षमता कम | |
विटामिन-B6 ( पाईरोड़ोक्सिन् ) | मांस , दूध , यीस्ट, अनाज, जिगर तथा मछली | | रुधिरक्षिणता ,चर्म रोग तथा पेशीय एंठन | |
विटामिन-H या B7 ( बायोटिन ) | मांस , गेंहू , अंडा , मूंगफली , चॉकलेट , सब्जी, फल तथा यीस्ट | | चरम रोग तथा बालो का झड़ना | |
विटामिन-B12 ( सायनोकोबाल – एमीन ) | मांस , दूध , मछली , जिगर , अंडा | | रुधिरक्षिणता , तंत्रिका तंत्र की गड़बड़ियाँ | |
विटामिन-C ( एस्कोर्बिक अमल ) | नींबू वंश के फल , टमाटर , सब्जियां , आलू तथा अन्य फल | | स्कर्वी रोग |
फोलिक अम्ल | हरी पत्तियां , जिगर , सोयाबीन, यीस्ट , फलियाँ | | रुधिरक्षिणता ,कुंठित वृद्धि |
शरीर में विटामिन की भूमिका :
समग्र स्वास्थ्य और कल्याण को बनाए रखने में विटामिन महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं। शरीर में विटामिन के कुछ प्रमुख कार्य इस प्रकार हैं:
प्रतिरक्षा प्रणाली का समर्थन ( immune system) :
स्वस्थ प्रतिरक्षा प्रणाली के लिए विटामिन सी और विटामिन डी जैसे विटामिन आवश्यक हैं।
ऊर्जा उत्पादन:
बी-कॉम्प्लेक्स विटामिन भोजन को ऊर्जा में परिवर्तित करके ऊर्जा उत्पादन में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
स्वस्थ त्वचा बनाए रखना:
स्वस्थ त्वचा के लिए विटामिन ए, सी और ई ( A, C, E ) आवश्यक हैं।
हड्डियों को मजबूत बनाना:
स्वस्थ हड्डियों को बनाए रखने के लिए विटामिन डी (D, K ) और विटामिन के महत्वपूर्ण हैं।
पुरानी बीमारियों को रोकना:
विटामिन सी ( C ) और विटामिन ई (E ) जैसे विटामिन शक्तिशाली एंटीऑक्सिडेंट हैं जो हृदय रोग और कैंसर जैसी पुरानी बीमारियों को रोकने में मदद कर सकते हैं।
GK of India| भारत का सामान्य ज्ञान